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पुलिस ने मुझे जेल में घसीटा-मेरी जान को खतरा है, SC और केंद्र सरकार मदद करें- अर्णब गोस्वामी

Janjwar Desk
8 Nov 2020 10:50 AM GMT
पुलिस ने मुझे जेल में घसीटा-मेरी जान को खतरा है, SC और केंद्र सरकार मदद करें- अर्णब गोस्वामी
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जेल ले जाते वक्त अर्णब गोस्वामी ने हाथ जोड़ते हुए कहा इन्होंने (पुलिस) सुबह मुझे घसीटा, रात को ही जेल में लाने की कोशिश की, मैं सुप्रीम कोर्ट से रिक्वेस्ट कर रहा हूं कि मुझे बेल दीजिए, आप लोग सब देख रहे हैं...

मुंबई। इंटीरियर डिजाइनर अन्वय नाइक और उनकी मां को साल 2018 में आत्महत्या के लिए उकसाने के लिए रायगढ़ जिले की अलीबाग पुलिस ने रिपब्लिक टीवी के एडिटर इन चीफ को गिरफ्तार किया था। इसके बाद एक निचली अदालत ने उन्हें 18 नवंबर तक के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। गोस्वामी को फिलहाल एक स्थानीय स्कूल के क्वारंटीन सेंटर में रखा गया था जहां से उन्हें तलोजा जेल ले जाया गया है।

जेल ले जाते वक्त अर्णब गोस्वामी ने हाथ जोड़ते हुए कहा, सुप्रीम कोर्ट को बताइए कि पुलिस ने मुझे मारा है। मेरी जान को खतरा है। मैने उनको बताया कि सुप्रीम कोर्ट में मेरी अर्जी है।

अर्णब गोस्वामी ने बताया कि मैने उनसे अनुरोध किया कि मुझे बात करने दीजिए लेकिन उन्होंने कहा कि बात नहीं करने देंगे। मैं भारत की जनता को बता रहा हूं कि मेरी जान को खतरा है। मेरे साथ जुल्म हो रहा है। मेरी पुलिस कस्टडी रिजेक्ट हो चुकी है। ये लोग देर कराना चाहते हैं, मुझे बाहर नहीं जाने देना चाहते हैं, आप मेरी हालत देखिए। इन्होंने सुबह मुझे घसीटा, रात को ही जेल में लाने की कोशिश की। मैं सुप्रीम कोर्ट से रिक्वेस्ट कर रहा हूं कि मुझे बेल दीजिए। आप लोग सब देख रहे हैं।

बता दें कि अर्णब गोस्वामी को गिरफ्तारी के दिन ही अलीबाग मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया था जहां से उन्हें 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। अर्णब गोस्वामी को पहले अलीबाग पुलिस थाने ले जाया गया, जहां से उन्हें अलीबाग प्राथमिक विद्यालय में शिफ्ट किया गया था। चार दिन यहां गुजारने के बाद उन्हें तलोबा जेल शिफ्ट किया गया है।

वहीं अर्णब गोस्वामी और दो अन्य आरोपियों के द्वारा दायर जमानत याचिका पर मुंबई हाईकोर्ट सोमवार को अपना फैसला सुनाएगी। जस्टिस एस एस शिंदे व जस्टिस एम एस कार्णिक की बेंच ने शनिवार को याचिकाओं पर दिनभर चली सुनवाई के बाद तत्काल कोई राहत दिए बिना फैसला सुरक्षित रख लिया था।

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