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राष्ट्रीय

Loan Fraud : लोन के नाम पर ठगी करने वाले 135 ऐप की हुई पहचान, 35 लाख रुपए बरामद, 4 ठग गिरफ्तार

Janjwar Desk
21 Jun 2022 6:35 AM GMT
Delhi News : ऑनलाइन गेम की चपेट में आया कारोबारी, ठगों ने खाते से ऐसे उड़ाए 29.40 लाख रुपए
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Delhi News : ऑनलाइन गेम की चपेट में आया कारोबारी, ठगों ने खाते से ऐसे उड़ाए 29.40 लाख रुपए

Loan Fraud : हजारों लोगों को ऐप के जरिए आसान लोन देकर ठगी करने के आरोप में चार जालसाजों को गाजियाबाद साइबर सेल और इंदिरापुरम पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया है, यह आरोपी कर्ज चुकाने के बाद भी लोगों को धमकाते और ठगी करते थे...

Loan Fraud : आजकल हम देखते हैं कि कई सारे ऐप हैं जो बिना किसी झंझट के आसानी से लोन देने का दावा करते हैं। ऐसे में आप सावधान हो जाए, अन्यथा थोड़ी सी जल्दबाजी आप पर भारी पड़ सकती है। बता दें कि, ऐसे ही हजारों लोगों को ऐप के जरिए आसान लोन देकर ठगी करने के आरोप में चार जालसाजों को गाजियाबाद साइबर सेल और इंदिरापुरम पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया है। यह आरोपी कर्ज चुकाने के बाद भी लोगों को धमकाते और ठगी करते थे।

चारों आरोपी को किया गया गिरफ्तार

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, हजारों लोगों को चुना लगाने वाले आरोपियों की पहचान मोहम्मद उस्मान (35 वर्ष), फुरकान (30 वर्ष), सुनील कुमार यादव (28 वर्ष) और बलराम गंगवार (28 वर्ष) के रूप में हुई है। मोहम्मद उस्मान और फुरकान दोनों भाई हैं, जबकि सुनील प्रतापगढ़ तो बलराम पीलीभीत कर रहने वाला है। हालांकि, अभी तक गिरोह के मास्टरमाइंड का पता नहीं चल पाया है।

कर्ज की राशि चुकाने के बाद भी कर रहे थे परेशान

एसपी (अपराध) दीक्षा शर्मा ने बताया कि इस मामले में कई पीड़ितों ने शिकायत की थी, फिर जांच में पुष्टि होने के बाद इन चारों आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। शिकायतकर्ताओं का कहना था कि उन्होंने कर्ज ली गई राशि चुका दी थी, लेकिन फिर भी उन्हें परेशान किया जा रहा था। आरोपियों के द्वारा बताए गए अपराध के तरीके के बारे में भी पुलिस ने जानकारी दी है।

अनजान लिंक से सावधान रहने की जरुरत

एसपी दीक्षा (अपराध) कहा कि मोहम्मद उस्मान और उनका भाई फुरकान, पर्सलन लोन की इच्छा रखने वाले शख्स के फोन नंबर और सोशल मीडिया पर लिंक भेजते थे। यदि कोई भी इस लिंक पर क्लिक कर ऐप डाउनलोड कर लेता था तो आरोपियों की पहुंच शख्स की संवेदनशील जानकारी (फोन नंबर, फोटो/वीडियो, गोपनीय जानकारी) तक हो जाती थी। पुलिस ऐप बनाने वाले शख्स की तलाश कर रही है।

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