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Mamta writes to non-BJP CM's : देश का लोकतंत्र है खतरे में, भाजपा से मुकाबले के लिए एकजुट हों; ममता ने विपक्षी दलों को पत्र भेज की अपील

Janjwar Desk
29 March 2022 9:01 AM GMT
Mamta writes letters to non BJP CMs : देश का लोकतंत्र है खतरे में, भाजपा से मुकाबले के लिए एकजुट हों ममता ने विपक्षी दलों को पत्र भेज की अपील
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Mamta writes letters to non BJP CM's : देश का लोकतंत्र है खतरे में, भाजपा से मुकाबले के लिए एकजुट हों ममता ने विपक्षी दलों को पत्र भेज की अपील

Mamta writes to non BJP CM's : संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान केंद्र सरकार ने चालाकी से विपक्ष के वॉकआउट के बीच दिल्ली स्पेशल पुलिस (संशोधन) विधेयक 2021 और सीवीसी संशोधन विधेयक पारित करा लिया। यह देश के लिए ठीक नहीं है।

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamta Banerjee) ने केन्द्र की भाजपा सरकार (Government of India) पर केंद्रीय एजेंसियों का दुरुपयोग कर विरोधियों को धमकाने का आरोप लगाया है। तृणमूल प्रमुख ने ने गैर भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों को पत्र भेजकर भाजपा से मुकाबले के लिए एकजुट होने की अपील की है।

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने अपने पत्र में लिखा है कि ईडी (ED), सीबीआई (CBI) और सेंट्रल विजिलेंस कमीशन (Central Vigilance Commssion) और इनकम टैक्स डिपार्टमेंट (Income Tax Department) का इस्तेमाल कर विरोधियों को निशाना बनाया जा रहा है। संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान केंद्र सरकार ने चालाकी से विपक्ष के वॉकआउट के बीच दिल्ली स्पेशल पुलिस (संशोधन) विधेयक 2021 और सीवीसी संशोधन विधेयक पारित करा लिया। यह देश के लिए ठीक नहीं है। इन हथकंडों से सरकार ईडी और सीबीआई के निदेशकों का कार्यकाल अब 5 साल तक बढ़ा सकती है।

बंगाल की मुख्यमंत्री ने पत्र में लिखा है कि हम सभी को केंद्रीय एजेंसियों के गलत इस्तेमाल का विरोध करना चाहिए। ऐसा देखा गया है कि जब भी चुनाव होने वाले होते हैं केन्द्रीय एजेंसियों की स​क्रियता बढ़ जाती है। पर भाजपा शासित राज्यों में केन्द्रीय एजेंसियों की ओर से कोई कार्रवाई नहीं की जाती है। उन्होंने कहा कि इस मामले में पारदर्शिता बरतते हुए जवाबदेही तय होनी चाहिए। इस तरह से बदला लेने वाली राजनीति को बर्दाश्त नहीं किया का सकता है।

ममता बनर्जी ने पत्र में लिखा है कि लोकतंत्र में जनता, विधायिका, न्यायपालिका, कार्यपालिका और मीडिया का महत्वपूर्ण स्थान है। पर इन सभी संस्थाओं को ध्वस्त कर दिया गया है। मैं न्यायपालिका का बहुत सम्मान करती हूं, लेकिन राजनीतिक हस्तक्षेप के कारण लोगों को न्याय मिलने में भी बाधा आ रही है। वर्तमान सरकार की ओर से देश के संघीय ढांचे पर प्रहार किया जा रहा है। पत्र के अंत में तृणमूल चीफ ममता ने लिखा है कि इन के खिलाफ आवाज उठाने के लिए सभी विरोधी दलों को एक साथ आकर आवाज उठानी चाहिए।

आपको बता दें कि आनंदबाजार पत्रिका डॉट कॉम के सूत्रों के हवाले से टेलीग्राफ में रिपोर्ट प्रकाशित की है कि तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव और ममता बनर्जी के भतीजे ने मंगलवार 29 मार्च को दिल्ली स्थित ईडी मुख्यलय को एक ईमेल भेजा है कि वे अपने व्यक्तिगत कारणों से ईडी की ओर से जारी किए गए सम्मनों का जवाब देने की स्थिति में नहीं हैं।

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