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Mohammed Zubair Bail Update: चूक या शरारत? दिल्ली पुलिस ने मोहम्मद जुबैर केस में कोर्ट का फैसला आने से पहले ही किया लीक

Janjwar Desk
2 July 2022 4:30 PM GMT
Mohammed Zubair Case : ALT न्यूज के सह संस्थापक मोहम्मद जुबैर को कस्टडी रिमाण्ड में लेकर सीतापुर जेल से बेंगलूर के लिए रवाना हुई पुलिस
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Mohammed Zubair Case : ALT न्यूज के सह संस्थापक मोहम्मद जुबैर को कस्टडी रिमाण्ड में लेकर सीतापुर जेल से बेंगलूर के लिए रवाना हुई पुलिस 

Mohammed Zubair Bail Update: जी न्यूज द्वारा कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के वायनाड कार्यालय से जुड़े बयान को उदयपुर से जोड़कर चलाए जाने का मामला अभी सुर्खियों में ही था कि शनिवार को दिल्ली पुलिस की ओर से ऐसी ही एक गलती पर दिल्ली पुलिस निशाने पर आ गई।

Mohammed Zubair Bail Update: जी न्यूज द्वारा कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के वायनाड कार्यालय से जुड़े बयान को उदयपुर से जोड़कर चलाए जाने का मामला अभी सुर्खियों में ही था कि शनिवार को दिल्ली पुलिस की ओर से ऐसी ही एक गलती पर दिल्ली पुलिस निशाने पर आ गई। फैक्ट चेकर मोहम्मद जुबेर की जमानत याचिका से जुड़े इस मामले में गलत रिपोर्टिंग कर फजीहत का सामना कर रही दिल्ली पुलिस ने अपनी गलती तो स्वीकार कर ली है लेकिन इसके बाद ऐसे भी लोग है जो पुलिस की मंशा को सवालिया नजरों से देख रहे हैं।

गौरतलब है कि बीते 27 जून को अल्ट न्यूज के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबेर की दिल्ली पुलिस द्वारा उनके द्वारा साल 2018 में किए गए ट्वीट को आधार बनाते हुए गिरफ्तारी की गई थी। इस गिरफ्तारी के बाद कोर्ट ने जुबेर को न्यायायिक हिरासत में भेज दिया था। शनिवार को इसी मामले में दिल्ली की एक अदालत में जुबेर की जमानत याचिका पर न्यायालय में सुनवाई थी। कोर्ट का काम-काज शुरू होने पर जुबेर के अधिवक्ता सौतिक बनर्जी की ओर से जमानत याचिका पर जिरह शुरू की गई। दूसरे पक्ष ने भी इस मामले में अपने तर्क न्यायालय के समक्ष रखे। मामले में दोनो पक्षों के तर्क-वितर्क सुनने के बाद न्यायालय इससे पहले जमानत याचिका पर निर्णय देती उससे पहले ही मीडिया हलकों में जुबेर की जमानत याचिका खारिज कर उन्हें 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेजे जाने की खबर आ गई। न्यायालय का निर्णय आने से पहले ही यह खबर आने पर जुबेर के वकील सौतीक बनर्जी ने आपत्ति की तो पता चला यह गलत खबर दिल्ली पुलिस के ही एक वरिष्ठ अधिकारी द्वारा लीक की गई थी।

जुबेर के वकील सौतिक बनर्जी ने इस पर आपत्ति दर्ज करते हुए उन्‍होंने कहा कि जिस समय जमानत याचिका खारिज किए जाने की खबर चल रही थी, उस समय तक अदालत ने अपना आदेश भी नहीं सुनाया था। अदालत का आदेश आने से पहले ही ऐसी खबर लीक करने का मामला बेहद निंदनीय है। इससे हमारे देश में आज कानून के शासन की स्थिति का पता चलता है। न्यायिक मजिस्ट्रेट के बैठने और आदेश सुनाने से पहले ही पुलिस ने मीडिया को आदेश लीक कर दिया है।

हालांकि अदालती आदेश से पहले ही जमानत याचिका खारिज कर जुबेर को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजे जाने की गलत खबर दिए जाने के आरोपों के बाद दिल्ली पुलिस के उपायुक्त (इंटेलिजेंस फ्यूजन एंड स्ट्रेटेजिक ऑपरेशंस) केपीएस मल्होत्रा ने जुबैर की न्यायिक हिरासत के बारे में पत्रकारों को गलत तरीके से सूचित करने की बात स्वीकार की। उन्होंने कहा कि मेरी अपने आईओ (जांच अधिकारी) के साथ बात हुई थी। मैंने शोर के कारण उनकी बात को गलत सुन लिया था। जिसके बाद उनकी तरफ से अनजाने में यह मैसेज पोस्‍ट कर दिया गया था।

वैसे दिल्ली पुलिस के अधिकारी ने इस मामले में हालांकि अपनी चूक स्वीकार करते हुए अपनी गलती मान ली है। लेकिन इससे पहले ही उनके बयान की वजह से दिल्ली पुलिस की खासी फजीहत हो चुकी थी। ऐसे भी लोग हैं जो पुलिस अधिकारी की स्वीकारोक्ति के बाद इसे चूक मानने को तैयार नहीं हैं। उन्हें इसमें शरारत की बू आ रही है। हाल ही में एक खबरिया न्यूज चैनल द्वारा कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के वायनाड कार्यालय से जुड़े बयान को उदयपुर की घटना से जोड़कर चलाए जाने के कारण ऐसे लोग इसे महज एक चूक के रूप में स्वीकार करने में हिचक रहे हैं।

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