राजू श्रीवास्तव के निधन पर कश्मीरी पंडित के लेखक का विवादित ट्विट, कहा - ' इनके प्रति मेरे मन में श्रद्धा नहीं है, न ही मुझे महान बनना है '
राजू श्रीवास्तव के निधन पर कश्मीरी पंडित के लेखक का विवादित ट्विट, कहा - ' इनके प्रति मेरे मन में श्रद्धा नहीं है, न ही मुझे महान बनना है '
नई दिल्ली। कॉमेडियन राजू श्रीवास्तव ( Commedian Raju Srivastava ) के निधन पर जहां देश और दुनिया के लोग शोक व्यक्त कर रहे हैं, वहीं कश्मीर और कश्मीरी पंडित पुस्तक के लेखक अशोक कुमार पांडेय ( Ashok Kumar Pandey ) ने एक चौंकाने वाला और विवादित ट्विट किया है। उन्होंने राजू श्रीवास्तव के निधन पर दो ट्विट किया है। पहले ट्विट में उन्होंने गजोधर पर तंज कसा है। एक घंटे के बाद अपने दूसरे ट्विट में उन्होंने साफ शब्दों में लिखा है कि मेरे मन में उनके यानि राजू श्रीवास्तव के प्रति कोई श्रद्धा नहीं है। न ही उनके प्रति ऐसा भाव दिखाकर मैं महान बनना चाहता हूं।
अशोक कुमार पांडे के ट्विट से साफ है कि वो राजू श्रीवास्तव के कई काले राज को जानते हैं, लेकिन खुद इस बारे में खुलकर बात करने से बचते भी दिखाई दे रहे हैं। बस, उनके यानि राजू श्रीवास्तव के बैक टू बैक पांच ट्विट को पोस्ट कर ये बताना चाहा है कि पर्दे के पीछे का कॉमेडियन कुछ और ही है। बाकी वो खुद न ककहर, उनके ( Commedian Raju Srivastava ) ट्विट के जरिए सबकुछ बताने की कोशिश की है। संभवतः वो यह बताना चाह रहे हैं कि राजू श्रीवास्तव कितना काला और गिरा हुआ इंसान है।
ऐसे में सवाल यह भी उठता है कि जब कश्मीर और कश्मीरी पंडित के लेखक ट्विट कर ये बात साफ कर दे रहे हैं कि मेरे मन में उनके लिए कोई सम्मान नहीं है तो वो पूरी कहानी ही क्यों नहीं पब्लिक को बता देते। पर वो वैसा नहीं कर रहे, केवल अपनी बात कहने के लिए राजू ( Commedian Raju Srivastava ) के ट्विट का सहारा ले रहे हैं। यानि वो सबकुछ बताकर भी खुद को विवाद से बचाए रखना चाहते हैं।
गजोधर को लेकर एके पांडे के ट्विट में क्या है
एके पांडे ने अपने ट्विट में राजू श्रीवस्तव ( Commedian Raju Srivastava ) के चार साल पुराने बैक टू बैक पांच ट्विट का जिक्र किया है। खास बात यह है कि राजू श्रीवास्तव के ट्विट में जिस गाली गलौज की भाषा का प्रयोग किया गया है उसे हम यहां नहीं लिख सकते। अशोक पांडें ने गजोधर के पुराने ट्विट के हवाले से जिस ट्विट को पब्लिक डोमेन में डाला है वो बोलने की बात तो क्या उसे पढ़ना भी एक संस्कारी इंसान उचित नहीं समझेगा। महिलाओं के खिलाफ इससे ज्यादा अपमानजनक भाषा के इस्तेमाल की आप कल्पना भी नहीं कर सकते। राजू श्रीवास्तव के ट्विव में महिलाओं के अस्तित्व को ही रौंदने का प्रयास किया गया है।
हालांकि, एक घंटा पहले यानि गजोधर के निधन के तत्काल बाद के ट्विट में उन्होंने लिखा था कि राजू श्रीवास्तव लोगों को हंसाते थे। फिर एक दिन पता चला कि हंसाने वाले चेहरे के पीछे नफरत का एक पुतला भरा है। गाली-गलौज, नफरती बातें भरती गईं और हंसी अ्टासहास में बदल गई। बदले में एक पद मिला। और फिर गोल चक्र घूमकर एक जीवन असमय समाप्त हो गया।
रवि ने मांगा लिंक तो मोहम्मद जुबैर के पोस्ट का लिंक किया साझा
अशोक कुमार पांडे के इस ट्विट पर इंडिया टीवी के रवि प्रशांत ने पूछा कि क्या आप इस पोस्ट का लिंक प्रोवाइड करा सकते हैं। इसके जवाब में उन्होंने ऑल्ट न्यूज के सह संस्थापक मोहम्मद जुबैर ( AltNews Co-founder Mohammad Zubair ) का एक क्लिप साल 2018 का पोस्ट किया, जिसमें राजू के पांचों ट्विट के साथ चैट में दविंदर सिंह फुल का भी जिक्र है। उन्होंने जवाबी पोस्ट में रवि प्रशांत से ये कहा भी है कि देखिए।