UKSSSC paper leak kand : पेपर लीक मामले में हुई 34वीं गिरफ्तारी, जल्द ही अवैध संपत्ति की जायेगी जब्त
UKSSSC Paper Leak Exclusive : भर्ती घोटाले में गिरफ्तार चन्दन मनराल की CM धामी के साथ फोटो आयी सामने, सरकारी विभागों में दलाली है इसकी मुख्य पहचान
UKSSSC paper leak kand : उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग यानी की परीक्षा से पहले ही पेपर लीक हो गये थे, जिसके कारण पूरे राज्य में हड़कंप मच गया था। परीक्षा पेपर लीक होने के कारण लाखो बच्चों के सपने टूट कर बिखर गए, जिसके कारण राज्य में सत्तासीन पुष्कर सिंह धामी सरकार की जगह जगह पर आलोचना की जा रही है।
इस घटना के बाद सरकार के प्रति छात्रों का विश्वास डगमगाता हुआ नजर आ रहा है। बता दें कि यह पूरा मामला सरकार के लिए एक बड़ी चुनौती बन गया है। पीड़ित छात्र सीधे सरकार से सवाल पूछ रहे हैं। उत्तराखण्ड सरकार ने मामले को संज्ञान में लेते हुए एसटीएफ को तहकीकात करने की जिम्मेदारी सौंपी हैं।
रविवार 4 सितंबर को पेपर लीक करने वाले मफिया के 34वें साथी को एसटीएफ की टीम ने पुख्ता साक्ष्य और टेक्निकल एविडेंस के आधार पर गोमतीनगर लखनऊ से गिरफ्तार कर लिया है। यूकेएसएसएससी पेपर लीक मामले में अभी तक की यह 34वीं गिरफ्तारी है। बता दे की जांच के दौरान पेपर लीक मामले में अब तक 92 लाख रुपए बरामद किए जा चुके हैं। साथ ही साथ एसटीएफ की टीम द्वारा अन्य अभियुक्तियो की भी अवैध संपत्ति का पता लगाया गया है।
परीक्षा पेपर लीक मामले में विवाद को लेकर उतराखंड मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने एग्जामिनेशन बोर्ड के साथ समीक्षा बैठक की थी, जिसके बाद छात्रों के हित में परीक्षा रद्द करने का ऐलान किया था। साथ ही एसटीएफ को जांच करने के आदेश दे दिये गये थे।
गोमतीनगर लखनऊ से गिरफ्तार संपन्न राव नकल सरगना सादिक मूसा का साथी बताया जा रहा है। पेपर लीक मामले में एसटीएफ ने शनिवार 3 सितंबर को 33वीं गिरफ्तारी की थी। एसटीएफ ने आयोग के पूर्व संविदा कर्मी पीआरडी जवान को गिरफ्तार किया। आरोप है कि उसने पहले पकड़े गए आरोपी मनोज जोशी से पेपर लिया और फोटोकॉपी कराने के बाद पत्नी को मुहैया कराया। आरोपी 2014 से अप्रैल 2022 तक अधीनस्थ सेवा चयन आयोग में संविदा कर्मी रह चुका है। एसटीएफ ने आरोपी को कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया।
25-25 हजार का इनाम घोषित
परीक्षा पेपर लीक मामले में उत्तराखंड एसटीएफ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक एसएसपी ने सैयद सादिक मूसा और योगेश्वर राव के सिर पर 25-25 हजार रुपये का इनाम घोषित किया है। 21 आरोपियों के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट के तहत केस दर्ज' किया गया है।
गौरतलब है थ्क यूकेएसएसएससी पेपर लीक मामले में अब तक 34 आरोपियों की गिरफ्तारी हो चुकी है और अब भी कई की गिरफ्तारियों का अंदेशा जताया जा रहा है।। इनमें से 21 के खिलाफ पुलिस गैंगस्टर एक्ट के तहत केस दर्ज किया जा चुका है। एसटीएफ ने इन आरोपियों के पेपरलीक करके कमायी गयी अवैध संपत्तियों का पता लगा लिया है, जिन्हें जब्त करने की कार्रवाई भी जल्द शुरू होगी।
पेपर लीक होने के बाद हंगामा मच गया था, जिसके कारण परीक्षार्थी लगातार परीक्षा रद्द करने की मांग कर रहे थे। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री ने परीक्षा बोर्ड मेम्बर के साथ समीक्षा बैठक कर परीक्षा रिद्द कर दी थी। सीएम धामी ने यूकेएसएसएससी परीक्षा पेपर लीक के आरोपियों पर सख्त कार्रवाई के आदेश जारी किये हैं। मुख्यमंत्री से आदेश मिलने के बाद स्पेशल टास्क फोर्स ने एक्टिव मोड में आकर तेजी से कार्रवाई शुरू कर दी है।
किसी भी छात्र के साथ नाइंसाफी नहीं
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने पेपर लीक के दोषियों के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट के तहत उत्तराखंड के महानिदेशक डीजीपी को कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। हालांकि ये वही डीजीपी महोदय हैं जिनकी तस्वीरें पेपरलीक कांड के सरगना हाकम सिंह के साथ तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो चुकी हैं। सीएम धामी ने ये भी कहा था कि दोषियों की संपत्ति जब्त की जाएगी और परीक्षा रद्द कर नए सिरे से चयन प्रक्रिया शुरू की जाएगी। किसी भी छात्र के साथ नाइंसाफी नहीं की जायेगी।
एसटीएफ की कई टीमों को उत्तरकाशी, रामनगर, धामपुर और लखनऊ भेजा गया है। एसटीएफ की टीमें गिरोह के लोगों के उन सभी दस्तावेजों को खंगाल रही हैं, जहां जहां उन्होंने अवैध तरीके से पैसे कमाकर इस पैसे को लगाया है। एसटीएफ और ईडी की दो तरफा कार्रवाई से नकल माफियाओं पर बड़ा शिकंजा कसने की पूरी तैयारी हो गई है।
एसटीएफ के सामने सबसे बड़ी चुनती उन बच्चों की पहचान हो गयी है जिन्होंने नकल करके परीक्षा पास की है, क्योंकि ये नकलची बच्चे भी अपराध की श्रेणी में आते है। हालंकि एसटीएफ की टीम अभी तक ऐसे 100 बच्चों को चिन्हित कर चुकी है तथा 200 बच्चों पर शक की निगाहें टिकी हुई है। ए
उत्तराखंड में परीक्षा में धांधली सामने आने के बाद युवाओं का सपना चूर चूर हो गया है। बड़ा सवाल ये भी है कि प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए तैयारी कर रहे युवाओं को सिस्टम पर कैसे विश्वास हो पायेगा। हालांकि एसटीएफ की कार्रवाई लगातार जारी है और कोशिश है कि गुनहगारों को अधिक से अधिक सज़ा मिल सके, ताकि भविष्य में कोई उत्तराखंड के युवाओं का हक़ छीनने की कोशिश न करे, मगर इस बीच उत्तराखण्ड की धामी सरकार पर भी सवाल उठ रहे हैं।