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Amroha Rape Case: पेड़ पर लटका मिला रेप पीड़िता का शव, अखिलेश यादव का ट्वीट- 'मामला दुखद और शर्मनाक!'
(पेड़ पर मिला रेप पीड़िता का लटका हुआ शव)
Amroha Rape Case: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में बेटियों की सुरक्षा और यूपी पुलिस के कार्यशैली पर एक बार फिर प्रश्न चिन्ह लग गया है। राज्य के अमरोहा जिले में एक रेप पीड़िता(Rape Victim) का शव खेत में पेड़ पर फंदे से लटकता हुआ पाया गया। जानकारी के अनुसार, पीड़िता के साथ एक माह पहले गांव के ही एक युवक ने घर में घुसकर रेप किया था। परिजनों का आरोप है कि आरोपी युवक ने ही युवती की हत्या कर लाश को पेड़ से टांग दिया। वहीं, पुलिस पर दुष्कर्मी की मदद करने का आरोप है। पीड़िता के परिजनों के अनुसार, रेप होने के एक महीने बाद भी आरोपी प्रशासन की गिरफ्त से बाहर है। पीड़ित परिवार का कहना है कि पुलिस आरोपी को बचाने का प्रयास करती रही।
खेत में प्लास्टिक की रस्सी से लटका मिला शव
रविवार, 31 अक्टूबर को पीड़िता का शव खेत में लटकता हुआ पाया गया। ग्रामीणों के मुताबिक, 16 वर्षीय लड़की रविवार सुबह करीब छह बजे पशुओं का चारा लाने खेत पर गई थी। काफी समय बाद भी वह घर नहीं लौटी तो परिजन तलाशते हुए खेतों की ओर गए। खेत में नीम के पेड़ पर प्लास्टिक की रस्सी से बंधे फंदे पर उसका शव लटका हुआ मिला। उसके हाथ-पैर भी रस्सी से बंधे थे। फंदा खोलकर परिजन उसे निजी अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया।
आरोपी समेत तीन पर हत्या का मामला दर्ज
रेप पीड़िता की मौत के बाद परिजनों ने जमकर हंगामा किया और पुलिस की लापरवाही पर सवाल उठाए। परिजनों और ग्रामीणों के दबाव में पुलिस ने आनन-फानन में दुष्कर्म के आरोपी मोनू शर्मा, उसकी मां और भाई पर हत्या का मुकदमा दर्ज किया। परिजनों का आरोप है कि पीड़िता के साथ सितबंर में ही दुष्कर्म हुआ तब पुलिस ने कार्रवाई नहीं की। सितंबर में हुई वारदात के आरोपी को पुलिस अब तक गिरफ्तार नहीं कर सकी। पीड़िता के घरवालों ने आरोपी पर हत्या कर शव खेत में लटकाने का आरोप लगाया।
पुलिस पर आरोपी का साथ देने का आरोप
वहीं, परिजनों का आरोप है कि एक महीने पहले जब वे दुष्कर्म की शिकायत लेकर पुलिस के पास पहुंचे तो इंस्पेक्टर और कांस्टेबल ने कम पढ़े-लिखे परिवार के सदस्यों का फायदा उठाया और मनचाही तहरीर पर उनसे हस्ताक्षर करवा लिए। पीड़िता के रिश्तेदारों ने पुलिस द्वारा रेप के आरोपी को बचाने का आरोप लगाया साथ ही बताया कि रेप के मामले को छेड़छाड़ की मामूली धाराओं में रिपोर्ट दर्ज की गई। इसके अलावा, पुलिस ने रिपोर्ट में पीड़िता की उम्र भी 19 साल दिखाई गई थी। जबकि रेप पीड़िता लड़की की उम्र 16 साल थी। पुलिस आरोपी को पॉक्सो एक्ट (POCSO Act) से बचाने के प्रयास में लगी थी। पीड़ित परिवार का कहना है कि कांस्टेबल सुमित का आरोपी मोनू शर्मा के घर काफी आना-जाना था और इसके लिए पुलिस ने पीड़िता की उम्र कम दिखाई और उसे एक महीने बाद भी गिरफ्तार नहीं किया।
इंस्पेक्टर और 2 सिपाही सस्पेंड
पूरा मामला तब उजागर हो पाया जब रेप पीड़ित लड़की का शव पेड़ से लटका हुआ मिला। मामले में तत्काल कार्रवाई करते हुए अमरोहा एसपी पूनम ने इंस्पेक्टर और 2 सिपाहियों को सस्पेंड कर दिया है। एसपी पूनम ने बताया कि 16 वर्षीय दुष्कर्म पीड़िता की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हुई है और उसने एक युवक के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी। इस मामले में परिजनों की तहरीर के आधार पर 3 लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई जा रही है।
अखिलेश यादव का योगी पर निशाना
यूपी में अमरोहा में इस दर्दनाक घटना के बाद विपक्षी पार्टी सपा के अध्यक्ष अखिलेश यादव(Akhilesh Yadav) ने ट्वीट कर निंदा की। अखिलेश यादव नअपने ट्वीट में रेप पीड़िता की मौत के बाद उसे श्रद्धांजलि देते हुए लिखा कि,"पुलिस वालों को निलंबित करके भाजपा सरकार नहीं बच सकती।" अखिलेश ने कहा कि, "यूपी में सरकार की फरार है!"