मिड डे मील में नमक-रोटी परोसने की खबर ब्रेक करने वाले पत्रकार पर दर्ज हुई एफआईआर
जैसे ही यूपी के प्राथमिक स्कूल में मिड डे मील में नमक-रोटी परोसे जाने का मामला हुआ हाई प्रोफाइल तो होने लगी जिला प्रशासन की किरकिरी, इसी से बचने के लिए बजाय दोषियों पर कार्रवाई के यह धांधली जनता के सामने लाने वाले पत्रकार पर ही प्रशासनिक अधिकारियों ने दर्ज करा दी है एफआईआर...
जनज्वार। अब सच कहना न सिर्फ आमजन बल्कि पत्रकारों के लिए भी खतरा बनता जा रहा है। हालांकि लोकतंत्र का चौथा स्तंभ कहा जाने वाला पत्रकारिता पहले से ही गिरवी हो चुका है, मगर जो थोड़ा—बहुत बचा भी है, वह भी खत्म हो जायेगा अगर पत्रकारों पर इसी तरह लगाम लगाने की कोशिश की जायेगी। सच लिखने—दिखाने की एवज में प्रशासन आप पर मुकदमा दर्ज कर सकता है।
उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर जनपद स्थित जमालपुर विकासखंड के प्राथमिक विद्यालय शिउर में पिछले दिनों मिड डे मील में नमक-रोटी परोसे जाने का एक वीडियो सामने आया था, जिसे वहां के स्थानीय पत्रकार पवन जायसवाल ने ब्रेक किया था। इस खबर का खुलासा करने वाले पत्रकार पर खंड शिक्षा अधिकारी की शिकायत एफआईआर दर्ज कर दी गई है।
एफआईआर की कॉपी
जानकारी के मुताबिक मिड डे मील में नमक-रोटी परोसे जाने वाली खबर कवर करने वाले पत्रकार और ग्राम प्रधान के प्रतिनिधि पर धारा 120-बी, 186,193 और 420 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। यह मुकदमा इन लोगों पर सरकारी कार्य में बाधा पहुंचाने, साझा साजिश व फर्जीवाड़ा करने का आरोप लगाते हुए मामला दर्ज किया गया है, जबकि नमक-रोटी परोसी जाने वाले वीडियो और फोटो भी मीडिया पर वायरल हुए थे। वीडियो में बच्चे नमक रोटी खाते हुए देखे जा सकते हैं।
एफआईआर दर्ज होने के बाद पत्रकार पवन जायसवाल कहते हैं, हम तो केवल खबर कवर करने स्कूल गए थे, जो कि हमारी ड्यूटी है। मुझे पहले से ही सूचना मिली थी कि स्कूल में बच्चों के मिड डे मील में अनियमितता बरती जा रही है। बच्चों को कभी नमक रोटी तो कभी नमक चावल परोसा जा रहा है। 22 अगस्त को स्कूल में खबर करने जाने से पहले मैंने असिस्टेंट बेसिक शिक्षा अधिकारी ब्रजेश सिंह को फोन करके सूचना भी दी थी। तब खबर सामने के बाद जिलाधिकारी ने दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की बात कही थी, मगर बजाय आरोपियों के उल्टा हम पर ही एफआईआर दर्ज करा दी गई है।'
गौरतलब है कि पत्रकार पवन जायसवाल की खबर और वीडियो सामने आने के बाद ज़िले के आला अधिकारियों ने कई बार शिउर गांव में स्थित प्राथमिक विद्यालय पहुंच कर बच्चों, ग्रामीणों सहित दुकानदारों और रसोइये का कई बार बयान लिया गया। मगर अब बजाय दोषियों पर कार्रवाई करने के खंड शिक्षा अधिकारी प्रेम शंकर राम द्वारा थाने में तहरीर देकर आरोप लगाया गया है कि रोटी-नमक प्रकरण में जान-बूझकर, प्रायोजित तरीके से छलपूर्वक वीडियो बनाकर वायरल करते हुए सरकारी कार्य में बाधा उत्पन्न की गई।
प्रशासन अपनी सफाई में कह रहा है कि इस पूरे मामले में ग्राम प्रधान के प्रतिनिधि राजकुमार पाल द्वारा षड्यंत्र रचकर एक पत्रकार की मदद से वीडियो बनवाकर उसे वायरल कराया गया है, इससे सरकारी काम में बाधा पहुंची है। कहा जा रहा है कि पत्रकार और ग्राम प्रधान के प्रतिनिधि पर एफआईआर डीएम अनुराग पटेल के निर्देश पर दर्ज की गयी है, क्योंकि इस कांड ने उनकी कलई खोलकर रख दी थी।
बच्चों को मिड डे मील में इस तरह परोसी जा रही थी नमक रोटी
गौरतलब है कि पिछले दिनों उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर जिले के शिउर गांव में स्थित प्राथमिक विद्यालय के बच्चों को मिड डे मिल में नमक के साथ रोटी खिलाने का एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसे पत्रकार पवन जायसवाल ने बनाया था।
जानकारी के मुताबिक यूपी के सरकारी स्कूलों में दिये जाने वाली मिड डे मील में हर दिन का अलग—अलग मेन्यू होता है। इसमें रोटी, दाल, चावल शामिल रहते हैं। यही नहीं हफ्ते में एक दिन खीर और एक दिन फल भी इसमें शामिल रहते हैं, मगर मिर्ज़ापुर के सरकारी प्राइमरी स्कूल के वीडियो में साफ दिख रहा है कि बच्चे नमक -रोटी खाने को मजबूर हैं। एक महिला बाल्टी में रोटी लेकर बच्चों को परोसती वीडियो में देखी जा सकती है, जिसके बाद बच्चों को नमक दिया जा रहा है।
हालांकि वीडियो वायरल होने की सूचना के बाद बेसिक शिक्षा अधिकारी प्रवीण कुमार तिवारी ने जांच के बाद कार्रवाई करते हुए प्रभारी प्रधानाध्यापक को निलंबित कर दिया था। इसके अलावा सहायक अध्यापिका का वेतन अग्रिम आदेश तक रोक दिए जाने का आदेश भी दिया था। यही नहीं बीएसए ने प्राथमिक विद्यालय सिउर की शिक्षामित्र को भी इस मामले में दोषी पाते हुए उसकी सेलरी रोक दी थी और खंड शिक्षाधिकारी जमालपुर को भी बराबर का दोषी मानते हुए उनसे तीन दिनों के अंदर स्पष्टीकरण मांगा था।
मगर अब इस मामले ने एक नया मोड़ ले लिया है। जैसे ही यह मामला हाई प्रोफाइल हुआ और जिला प्रशासन की किरकिरी होने लगी तो इसकी सुनवाई तो दूर स्कूल में मिड डे मील में हो रही धांधली जनता के सामने लाने वाले पत्रकार पर ही प्रशासनिक अधिकारियों ने एफआईआर दर्ज करा दी है।