Begin typing your search above and press return to search.
आंदोलन

हाईकोर्ट के आदेश के बावजूद उत्तराखंड के श्रम सचिव का मज़दूर विरोधी फैसला

Prema Negi
17 Jun 2019 6:01 AM GMT
हाईकोर्ट के आदेश के बावजूद उत्तराखंड के श्रम सचिव का मज़दूर विरोधी फैसला
x

आक्रोशित मजदूरों ने निकाला काला मुखौटा पहनकर जुलूस, श्रम सचिव के हाईकोर्ट के फैसले के उल्लंघन को दिया मजदूर विरोधी करार...

रूद्रपुर, उत्तराखंड। भगवती प्रोडक्ट्स लिमिटेड (माइक्रोमैक्स) में अवैध छंटनी और बंदी के खिलाफ नैनीताल उच्च न्यायालय ने 40 दिन में निस्तारित करने के लिए प्रमुख सचिव श्रम को जो आदेश दिया था, श्रम सचिव ने पूरे मामले को मालिकों के पक्ष में निस्तारित कर दिया।

उच्च न्यायालय के आदेश के विपरीत श्रम सचिव ने लिखा है कि सुनवाई के लिए कोई अर्जेंसी नहीं है, छंटनी का मामला श्रम न्यायालय निस्तारित करेगा। हालांकि प्रबन्धन के हवाले से यह ज़रूर लिखा गया है कि प्लांट बंद नहीं होगा।

श्रम सचिव के इस आदेश के बाद मजदूरों में आक्रोश और बढ़ गया और उन्होंने स्थानीय रुद्रपुर के मुख्य बाजार में काला मुखौटा पहनकर जुलूस निकाला। साथ ही मज़दूर आगे की तैयारी में जुटे हैं।

गौरतलब है कि 27 दिसंबर 2018 को भगवती प्रबंधन ने 303 श्रमिकों की गैरकानूनी रूप से छंटनी कर दी थी और राज्य से सब्सिडी व टैक्स छूटों का लाभ उठाकर कंपनी को बंद करने और राज्य से पलायन की तैयारी कर रहा था। राज्य सरकार, शासन, श्रम विभाग, प्रशासन व पुलिस का पूरा रुख शुरू से ही मज़दूरों के खिलाफ था।

इसके बाद अपनी ज़मीनी आंदोलन के साथ मज़दूरों ने उच्च न्यायालय, नैनीताल में रिट दायर की, जिसके तहत न्यायालय ने श्रम सचिव को मामले की अर्जेंसी के आधार पर मज़दूरों के 14 जनवरी के पत्र को 40 दिन में निस्तारित करने का आदेश दिया था।

Next Story