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समाज

दलित लड़कों ने तालाब में नहाया तो पहले की पिटाई फिर गांवभर में नंगा घुमाया

Janjwar Team
15 Jun 2018 4:31 AM GMT
दलित लड़कों ने तालाब में नहाया तो पहले की पिटाई फिर गांवभर में नंगा घुमाया
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नाबालिग लड़कों को तालाब से निकालकर न सिर्फ बेल्ट और डंडों से पीटा गया, बल्कि नंगा कर पूरे गांवभर में घुमाया गया....

जलगांव, महाराष्ट्र। दलितों पर होने वाले अत्याचारों पर किसी तरह की कोई कमी आएगी, इसकी उम्मीद कम ही लगती है। क्योंकि एक के बाद एक जिस तरह से दलितों पर होने वाली हिंसा की दिल दहलाने वाली घटनाएं सामने आ रही हैं, वह दर्शाती हैं कि हमारा समाज जाति के नाम पर किसी भी हद तक गुजर सकता है। दलितों की किसी बात से उच्च जाति के अहम को चोट पहुंचना भी उनकी मौत का कारण बन सकता है।

छोटी—छोटी बातों पर दलितों की हत्याएं आम हो गई हैं। भाजपा शासित राज्यों में दलितों पर होने वाली हिंसा की घटनाएं तो लगता है रिकॉर्ड ही कायम ​करेंगी।

हाल में ऐसी ही एक और घटना सामने आई है जो सोचने पर मजबूर करती है कि क्या यही है प्रधानमंत्री मोदी के सपनों का भारत, जहां वो बराबरी की बात करते हैं। महाराष्ट्र के जलगांव स्थित वकाडी गांव में दलित लड़कों को पीटकर गांवभर में सिर्फ इसलिए नंगा कर घुमाया गया क्योंकि उन्होंने एक तालाब में नहा लिया था।

संवेदनहीनता की पराकाष्ठा छूने वाली यह घटना 10 जून को घटी। मीडिया में आ रही खबरों के मुताबिक भीषण गर्मी से राहत पाने के लिए दलित मातंग समुदाय के तीन लड़के जिनकी उम्र 12 से 14 साल के बीच थी, ने एक सवर्ण किसान के तालाब में नहा लिया। दलित लड़कों द्वारा तालाब में नहाने की बात सवर्ण समुदाय को पता चली तो मौके पर ही भारी भीड़ इकट्ठा हो गई।

नाबालिग लड़कों को तालाब से निकालकर न सिर्फ पीटा बेल्ट और डंडों से पीटा गया, बल्कि नंगा कर पूरे गांवभर में घुमाया गया। मीडिया में आई खबरों के मुताबिक उच्च जाति के लोग दलित लड़कों पर भड़क गए। गाली—गलौज करते हुए कुछ लोगों ने तालाब में नहाने वाले लड़कों को कपड़े निकालने को मजबूर किया और गांव भर में नंगा घुमाया।

संबंधित वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें लड़कों को केवल चप्पल पहने और कुछ पेड़ के पत्ते लपेटे हुए देखा जा सकता है। नाबालिग लड़कों और उनके परिवार ने लोकल पुलिस में जब इसके बाबत शिकायत दर्ज करानी चाही तो गांव के ही कुछ दबंग लोगों ने उन पर शिकायत वापस लेने का दबाव बनाया और धमकाया गया। गौरतलब है कि पुलिस में इस मामले में आधा दर्जन लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कराया गया है।

वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद इस मामले में कार्रवाई की गई। महाराष्ट्र के सामाजिक न्याय मंत्री दिलीप कांबले के मुताबिक दलित लड़कों को नंगा कर घुमाने में दोषी दो लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया गया है और मामले की जांच जारी है। केंद्रीय सामाजिक कल्याण मंत्री रामदास अठावले ने भी इस घटना की कड़ी आलोचना करते हुए कहा कि सरेआम गांव भर में नाबालिग दलित लड़कों को नंगा घुमाने वाले अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए।

मामले के राजनीतिक तूल पकड़ने के बाद महाराष्ट्र में मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस और सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी के ही बहुत से दलित व राजनीतिक नेताओं ने इस घटना को गलत ठहराते हुए अपराधियों पर एससी/एसटी अधिनियम के तहत मामला दर्ज कराए जाने की जांग की है।

महाराष्ट्र के मंत्री चंद्रकांत पाटिल ने आश्वासन दिया है कि भारतीय दंड संहिता व एससी/एसटी अधिनियम के तहत धाराएं लगाकर दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।

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