300 हथियारबंद लोगों के साथ जमीन कब्जाने पहुंचे ग्राम प्रधान के गुंडों ने ले ली 10 आदिवासियों की जान, दर्जनों की हालत नाजुक
32 ट्रैक्टरों में करीब 300 हमलावरों के साथ पहुंचा था ग्राम प्रधान जमीन कब्जाने, जब गुर्जर और गोंड आदिवासी बहुल ग्रामीणों ने किया इसका विरोध तो सैकड़ों राउंड फायरिंग कर बिछा दिया लाशों का ढेर....
जेपी सिंह की रिपोर्ट
उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले के घोरावल कोतवाली क्षेत्र के मूर्तिया (उभ्भा) गांव में बुधवार 17 जुलाई की दोपहर सौ बीघा विवादित जमीन को लेकर दो पक्षों में खूनी संघर्ष हो गया। इस दौरान फायरिंग हुई और जमकर लाठी-डंडे और फावड़े चले। इसमें 10 लोगों की मौत हो गई, जबकि 25 लोग घायल हो गए। घायलों का उपचार सीएचसी घोरावल और जिला अस्पताल में हो रहा है। गांव में तनाव को देखते हुए भारी संख्या में फोर्स तैनात कर दी गई है। इस मामले में ग्राम प्रधान के भतीजे समेत 24 लोग गिरफ्तार किए जा चुके हैं, जबकि मुख्य आरोपी प्रधान यज्ञ दत्त भूरिया अभी फरार चल रहा है।
गौरतलब है कि घोरावल कोतवाली क्षेत्र में ग्राम पंचायत मूर्तिया में दो पक्षों में वर्षों से जमीन विवाद चल रहा है। लोगों के मुताबिक 2 साल पहले पूर्व आईएएस आशा मिश्रा और उनकी बेटी ने यह जमीन ग्राम प्रधान यज्ञदत्त को बेच दी थी। इसी जमीन पर कब्जे के लिए ग्राम प्रधान कल 17 जुलाई की दोपहर को 32 ट्रैक्टरों में करीब 300 हमलावरों के साथ पहुंचा था। जब गुर्जर और गोंड आदिवासी बहुल ग्रामीणों ने इसका विरोध किया तो सैकड़ों राउंड फायरिंग कर लाशें बिछा दी गईं।
प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक 17 जुलाई को ग्राम प्रधान सैकड़ों लोगों को लेकर विवादित जमीन पर पहुंच गया। वहां उसने खेत की जोताई शुरू करा दी, जिसका दूसरे पक्ष के लोगों ने इसका विरोध किया। उसके बाद देखते ही देखते दोनों पक्षों में खूनी संघर्ष शुरू हो गया। इस दौरान फायरिंग हुई, लाठी-डंडे और कुल्हाड़ी चली। सूचना मिलने के बाद मौके पर पहुंची घोरावल पुलिस ने शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है। पुलिस अधीक्षक खुद घटनास्थल पहुंच चुके हैं।
जहां यह वारदात हुई है, वह जगह सोनभद्र के जिला मुख्यालय रॉबर्ट्सगंज से 55-56 किलोमीटर दूर है। ग्राम प्रधान यज्ञदत्त भूरिया ने इलाके में करीब 90 बीघे जमीन 2 साल पहले खरीदी थी और वह उसी जमीन का कब्जा लेने पहुंचा था। यहां के स्थानीय गोंड और गुर्जर आदिवासियों ने उसका विरोध किया, जिसके बाद प्रधान के साथ आए लोगों ने गांववालों पर अंधाधुंध फायरिंग कर दी। यज्ञदत्त का दावा है कि उसने इलाके में 90 बीघे जमीन खरीदी थी। इसी जमीन का कब्जा लेने को लेकर 32 ट्रैक्टरों में 300 लोगों को भरकर लाया था। घटना के बाद से प्रधान यज्ञ दत्त फरार चल रहा है।
गौरतलब है इस इलाके में गोंड और गुर्जर आदिवासी रहते हैं और ये गुर्जर लोग वहां दूध बेचने का काम करते हैं। यह इलाका जंगलों से घिरा है और यहां ज्यादातर वनभूमि है। चूंकि यहां सिंचाई का कोई साधन नहीं है इसलिए ये स्थानीय लोग बारिश के मौसम में बरसात के पानी से वनभूमि पर खरीफ के मौसम में मक्के और अरहर की खेती करते हैं। इस इलाके में वनभूमि पर कब्जे को लेकर अक्सर झगड़ा होता रहता है।
मृतकों में रामचंदर (50) पुत्र लालशाह, राजेश गौड़ (28) पुत्र गोविंद, अशोक (30) पुत्र नन्हकू, रामधारी (60) पुत्र हीरा शाह, प्रभावती (45) पत्नी नंदलाल, दुर्गावती (42) पत्नी रंगीला लाल, राम सुंदर (50) पुत्र तेजा सिंह, जवाहिर (48) पुत्र जयकरन, सुखवन्ती (40) रामनाथ व आशोक गोंड पुत्र (35) हरिवंश शामिल हैं।
इनके अलावा अशोक गोड़ (35) पुत्र हरिवंश, केरवा देवी (50) पत्नी राम प्रसाद, रामधीन (35) पुत्र तेजा सिंह, विजय कुमार (20) पुत्र जय श्याम, जय प्रकाश (20) पुत्र संतलाल, नागेंद्र(26) पुत्र श्रीराम, राजिंदर (18) पुत्र राम सिंह, भगवान दास (60) पुत्र भीखम, रामलाल (60) पुत्र बौड़म, छोटेलाल (65) पुत्र चरकुट, कमलावती (50) पत्नी रामपति, रामनाथ(26) पुत्र तेजा सिंह, सीता देवी(70) पत्नी तेजा सिंह, सुखवंती(45) पत्नी संतलाल समेत 25 लोग घायल हो गए।
प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोनभद्र में हुई घटना पर संज्ञान लेते हुए मृतकों के परिवार के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त की और घायलों को तत्काल चिकित्सा सुविधा मुहैया कराने के लिए सोनभद्र के डीएम को निर्देशित किया। उन्होंने डीजीपी को व्यक्तिगत रूप से मामले की निगरानी करने और दोषियों को पकड़ने के लिए बहुत प्रभावी कार्रवाई सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है।
सीएम योगी ने निर्देश दिया है कि कमिश्नर मिर्जापुर और एडीजी जोन वाराणसी संयुक्त रूप से इस मामले की जांच करेंगे और 24 घंटे के भीतर खामियों के लिए जिम्मेदारी तय करेंगे। इस घटना में मारे गये लोगों के परिजनों को 5-5 लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा भी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने की है। साथ ही सोनभद्र जिलाधिकारी से गांव वालों को पट्टे क्यों नहीं दिए गए, इस पर भी रिपोर्ट देने के लिए कहा है।
इस मामले पर यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव और कांगेस की महासचिव प्रियंका गांधी ने यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ पर निशाना साधा है। यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री और सपा मुखिया ने ट्वीट करते हुए कहा कि अपराधियों के आगे नतमस्तक भाजपा सरकार में एक और नरसंहार...! सोनभद्र में भूमाफियाओं द्वारा जमीन विवाद को लेकर नौ लोगों की हत्या दहशत एवं दमन का प्रतीक...! सभी मृतकों के परिवारों को 20-20 लाख रुपये मुआवजा दें...! दोषियों पर सख्त से सख्त कार्रवाई करे सरकार...!
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने ट्वीट किया कि भाजपा राज में अपराधियों के हौसले इतने बढ़ गए हैं कि दिनदहाड़े हत्याओं का दौर जारी है। सोनभद्र में भूमाफियाओं द्वारा तीन महिलाओें सहित नौ गोंड आदिवासियों की सरेआम हत्या ने दिल दहला दिया। प्रशासन, प्रदेश, मुखिया, मंत्री सब सो रहे हैं। क्या ऐसे बनेगा अपराध मुक्त प्रदेश...।