Begin typing your search above and press return to search.
समाज

बदायूँ कांड के बाद मृतक पीड़ित महिला के परिवार से मिलने जा रहे पूर्व IAS को UP पुलिस ने किया नजरबंद

Janjwar Desk
6 Jan 2021 11:56 PM IST
बदायूँ कांड के बाद मृतक पीड़ित महिला के परिवार से मिलने जा रहे पूर्व IAS को UP पुलिस ने किया नजरबंद
x
मुझे रिहा करिए योगी आदित्यनाथ जी, मैंने कोई गैरकानूनी काम नहीं किया है, पीड़ित परिवार से मिलना, संवेदना व्यक्त करना इस देश में जुर्म कहलाएगा? पुलिस बल का दुरुपयोग कर आप लोकतंत्र की हत्या क्यूँ करना चाहते हैं? मेरी आपसे विनती है कि मुझे इस कैद से मुक्त कर बदायूँ जाने दिया जाए....

जनज्वार। बदायूं गैंगरेप और नृशंस हत्याकांड की घटना ने पूरे राजनीति में उबाल ला दिया है। तमाम सामाजिक-राजनीतिक संगठन योगी सरकार के रामराज के खिलाफ मैदान में हैं और यूपी पुलिस की असंवेदनशीलता के खिलाफ भी देशभर में गुस्सा भरा हुआ है।

इस जघन्य कांड के बाद आज 6 जनवरी को जब पूर्व आईएएस अधिकारी सूर्यप्रताप सिंह पीड़ित मृतक महिला के परिजनों से जब मुलाकात करने जा रहे थे तो यूपी पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया।

इस घटना की जानकारी ट्वीटर पर साझा करते हुए हंसराज मीणा लिखते हैं, 'मैं उत्तरप्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार व यूपी पुलिस से तत्काल पूर्व रिटायर्ड आईएएस सूर्यप्रताप सिंह जी की रिहाई की माँग करता हूँ। अकेले व्यक्ति का बदायूँ की गैंगरेप मृतक महिला के परिवार से मिलना कोई गुनाह नहीं है। ऐसे नजरबंद करके थाने में बिठाना ठीक नहीं है।'

एक अन्य ट्वीट में हंसराज मीणा ने लिखा है, बदायूँ घटना पर मृतक पीड़ित महिला के परिवार से मिलने जा रहे @suryapsingh_IAS जी, को उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा पकड़कर रखा है। ऐसा अभी उन्होंने मुझे फोन करके जानकारी दी। ये वाकयी बेहद शर्मनाक है। आखिर यूपी में चल क्या रहा हैं? सूर्याप्रताप जी को तत्काल रिहा करो। #ReleaseSuryapratap

खुद को नजरबंद किये जाने की सूचना ट्वीटर पर साझा करते हुए पूर्व आईपीएस सूर्यप्रताप सिंह ने लिखा है, 'मुझे रिहा करिए योगी आदित्यनाथ जी, मैंने कोई गैरकानूनी काम नहीं किया है, पीड़ित परिवार से मिलना, संवेदना व्यक्त करना इस देश में जुर्म कहलाएगा? पुलिस बल का दुरुपयोग कर आप लोकतंत्र की हत्या क्यूँ करना चाहते हैं? मेरी आपसे विनती है कि मुझे इस कैद से मुक्त कर बदायूँ जाने दिया जाए...'

एक अन्य ट्वीट में उन्होंने लिखा है, 'मैं अकेला बदायूँ जाकर पीड़ित परिवार से मिल उनका दर्द बाँटना चाहता था, उत्तरप्रदेश पुलिस ने मुझे शाहजहांपुर में रोक कर गेस्टहाउस में नजरबंद कर दिया है। मैं सुरक्षित हूँ पर फिलहाल सरकारी कैद में हूँ। मुझ अकेले के जाने से कानून व्यवस्था कैसे भंग हो जाएगी? लोकतंत्र की हत्या है ये!'

Next Story

विविध