अफगानिस्तान: पंजशीर के प्रमुख नेता मसूद ने पहली बार पत्ते खोले, बताया रेसिस्टेंस फोर्स का क्या है मिशन
पंजशीर के प्रमुख नेता ने पहली बार भविष्य की योजनाओं पर चर्चा की है
जनज्वार। काबुल पर तालिबान पर कब्जे के बाद पंजशीर के प्रमुख नेता अहमद मसूद ने पहली बार नेशनल रेजिस्टेंस फोर्स की भविष्य की योजनाओं पर बात की है। मसूद ने रॉयटर्स से साफ साफ कहा कि रेजिस्टेंस फोर्स केवल पंजशीर के लिए लड़ाई नहीं लड़ रही है।
इससे पहले 18 अगस्त को उसने वॉशिंगटन पोस्ट में एक लेख लिखा था, जिसमें उसने अंतर्राष्ट्रीय मदद की गुहार लगाई थी। इसमें उसने अमेरिका समेत दुनिया के तमाम देशों से अपील की थी। इसमें उसने कहा था कि अफगानिस्तान में तालिबान का शासन होना केवल यहां के लिए समस्या नहीं होगी। ऐसा होने पर यह इस्लामिक आतंकवाद का गढ़ बन जाएगा।
इस बार रेजिस्टेंस फोर्स के अन्य नेताओं की तरह अहमद मसूद ने भी कहा कि पंजशीर आत्मसमर्पण नहीं करेगा। उसने कहा कि पंजशीर ने आजतक किसी के सामने सरेंडर नहीं किया है और तालिबान के सामने भी नहीं करेगा। लेकिन अगर तालिबान बातचीत के लिए तैयार नहीं होता है तब तो युद्ध टालना असंभव हो जाएगा।
मसूद ने रॉयटर्स से कहा कि रेजिस्टेंस फोर्स केवल पंजशीर प्रांत के लिए लड़ाई नहीं लड़ रही है। उसने कहा कि विभिन्न प्रांतों से सैन्यबल पंजशीर में पहुंचा हुआ है। अब हम सभी मिलकर एक प्रांत से पूरे देश की रक्षा कर रहे हैं। मसूद ने बताया कि उसकी सेना में स्पेशल फोर्सेज से लेकर लोकल मिलिशिया तक शामिल हैं।
मसूद ने दुबई के अल-अरबिया चैनल से बातचीत में कहा कि उसे तालिबान की सरकार बनने से कोई समस्या नहीं है। लेकिन यह एक ऐसी सरकार होनी चाहिए जिसमें पूरे देश से प्रतिनिधित्व हो। उसने कहा कि लड़ाई बस इसी बात के लिए चल रही है।