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असम-मिजोरम सीमा पर हिंसक झड़प में 6 पुलिसकर्मी शहीद, जानें दोनों पूर्वोत्तर राज्यों के बीच क्या है विवाद की वजह

Janjwar Desk
27 July 2021 6:21 AM GMT
असम-मिजोरम सीमा पर हिंसक झड़प में 6 पुलिसकर्मी शहीद, जानें दोनों पूर्वोत्तर राज्यों के बीच क्या है विवाद की वजह
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असम और मिजोरम सीमा पर हुई हिंसक झड़प में 6 पुलिसकर्मी शहीद हो गए हैं

दोनों राज्यों के पुलिस बल एक-दूसरे के सामने हैं तो दोनों प्रदेश के मुख्यमंत्री अपने-अपने दावों के साथ सोशल मीडिया पर भिड़ गए...

जनज्वार। दो पूर्वोत्तर राज्यों असम और मेघालय के बीच सीमा विवाद को लेकर हुए संघर्ष में असम के 6 पुलिसकर्मियों के मारे जाने की खबर सामने आई है। रिपोर्ट के अनुसार दोनों राज्यों के पुलिस बल एक-दूसरे के सामने हैं तो दोनों प्रदेश के मुख्यमंत्री अपने-अपने दावों के साथ सोशल मीडिया पर भिड़ गए हैं। केंद्र ने भी दखल दिया और दोनों राज्यों के अधिकारियों की नई दिल्ली में उच्चस्तरीय बैठक कराई। गृहमंत्री अमित शाह पिछले हफ्ते ही पूर्वोत्तर का दौरा करके आए हैं।

विवाद को लेकर असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने कहा है कि कछार जिले में अंतर-राज्यीय सीमा पर मिजोरम की ओर से उपद्रवियों द्वारा की गई गोलीबारी में असम पुलिस के छह जवानों की मौत हो गई है। रिपोर्ट के अनुसार, सीमा पार से लगातार हो रही गोलीबारी के बीच जंगल में मौजूद असम पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने पीटीआई को बताया है कि कछार के पुलिस अधीक्षक निंबालकर वैभव चंद्रकांत समेत कम से कम 50 कर्मी गोलीबारी और पथराव में घायल हो गए हैं।

वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि सीमा पार से उपद्रवियों ने उस समय अचानक गोलीबारी शुरू कर दी, जब दोनों पक्षों के नागरिक अधिकारी मतभेदों को सुलझाने के लिए बातचीत कर रहे थे।

अधिकारी ने पीटीआई से फोन पर कहा, ''मैं तत्काल यह नहीं बता सकता कि कितने लोग घायल हुए हैं, लेकिन मेरा अनुमान है कि कम से कम 50 कर्मी घायल हुए। गोलीबारी में हमारे एसपी भी घायल हो गए और एक गोली उनके पैर में लगी।'' आईपीएस अधिकारी जब पीटीआई से फोन पर बात कर रहे थे तब वह जंगल के अंदर छिपे हुए थे और पीछे से गोलीबारी की आवाज सुनाई दे रही थी।

उधर असम के मुख्यमंत्री सरमा ने ट्वीट कर कहा, ''मुझे यह सूचित करते हुए बहुत दुख हो रहा है कि असम-मिजोरम सीमा पर हमारे राज्य की संवैधानिक सीमा की रक्षा करते हुए असम पुलिस के छह बहादुर जवानों ने अपने प्राणों की आहुति दी है। शोक संतप्त परिवारों के प्रति मेरी हार्दिक संवेदना।''

मिजोरम की सीमा असम के कछार और हाइलाकांडी जिलों से लगती है. यहां जमीन को लेकर दोनों सूबों के बीच आए दिन तनातनी होती रहती है। पहाड़ी इलाकों में कृषि के लिए जमीन बहुत कम है, इसीलिए जमीन के छोटे से टुकड़े की अहमियत बहुत बड़ी होती है। कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि हालिया विवाद तब गंभीर हुआ जब असम की पुलिस ने अपना इलाका खाली कराने के लिए कुछ लोगों को खदेड़ा। असम पुलिस ने कहा कि ये लोग अतिक्रमणकारी थे।

वहीं रिपोर्ट्स के अनुसार, मिज़ोरम के मुख्यमंत्री ज़ोरामथांगा ने अपने बयान में पूरे हादसे को दुखद बताते हुए कहा है कि यह पूरा संघर्ष तब शुरू हुआ जब रविवार को दिन के साढ़े ग्यारह बजे कछार ज़िले के वैरंगते ऑटो रिक्शा स्टैंड के पास बने सीआरपीएफ़ पोस्ट में असम के 200 से ज़्यादा पुलिसकर्मी पहुंचे और इन लोगों ने मिज़ोरम पुलिस और स्थानीय लोगों पर बल प्रयोग किया।

उन्होंने कहा, "पुलिस के बल प्रयोग को देखते हुए जब स्थानीय लोग वहां जमा हुए तो उन पर पुलिस ने लाठी चार्ज किया और टियर गैस का इस्तेमाल किया जिसमें कई लोग घायल हुए हैं।" जबकि असम के मुख्यमंत्री के बयान के मुताबिक असम के पुलिस बल पर मिज़ोरम के आम लोगों ने पत्थरों से हमला कर दिया और मिज़ोरम पुलिस भी उनका साथ देती नज़र आई।

विवाद बढ़ता देख केंद्र ने दखल दिया। दोनों सूबों के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशकों को दिल्ली बुलाकर एक बैठक करवाई गई। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह 24 जुलाई को दो दिनों के पूर्वोत्तर दौरे के लिए पहुंचे। 25 जुलाई को शिलांग में एक बैठक हुई, जिसमें गृह मंत्री के साथ पूर्वोत्तर के सभी राज्यों के मुख्यमंत्री भी शामिल हुए।

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