अमित शाह ने साफ कहा सरकार नहीं खरीदेगी पूरे देश भर में एमएसपी पर फसलें : किसान नेता चढूनी
(यह पहला मौका है, जब इस तरह के विरोध प्रदर्शन में किसान दो गुट में बंट गए हैं।)
जनज्वार, नई दिल्ली। किसानों का आंदोलन सोमवार (14 December 2020) को 19वें दिन में प्रवेश कर गया है। किसान जहां आज से आंदोलन को नया तेवर और विस्तार देने जा रहे हैं, वहीं तीव्र होते आंदोलन को लेकर गृहमंत्री अमित शाह एक बार फिर सक्रिय हुए हैं। इस बीच एक प्रमुख किसान नेता गुरनाम सिंह चढूनी ने कहा है कि केंद्र सरकार झूठ का प्रचार कर रही है और वह न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर किसानों की फसलें खरीदने को तैयार नहीं है।
Govt is misleading everyone on MSP. Home Minister Amit Shah replied to us during 8th Dec meet that they can't buy all 23 crops at MSP as its costs Rs 17 lakhs crores. : Gurnam Singh Chaduni, President, Bhartiya Kisan Union (Haryana) pic.twitter.com/yUVc9xo1kK
— ANI (@ANI) December 14, 2020
गुरनाम सिंह चढूनी ने कहा है कि बीजेपी व उसकी सरकार के मंत्री यह बात फैला रहे हैं कि सरकार किसानों की फसल एमएसपी पर खरीदने को तैयार है। उन्होंने कहा कि बार-बार यह बात बोलकर इन्होंने हमारे कान पका दिए हैं। गुरनाम सिंह चढूनी ने कहा 'लेकिन मैं बता देना चाहता हूं कि आठ दिसंबर को अमित शाह के साथ हमारी जो मीटिंग हुई थी उसमें उन्होंने साफ तौर पर इस बात से मना कर दिया था कि सरकार किसानों की फसल देश भर में एमएसपी पर खरीदेगी'। चढूनी ने कहा कि अमित शाह ने हमसे कहा कि हम नहीं खरीद सकते हैं।
चढूनी ने कहा कि अमित शाह के साथ बैठक में उन्होंने खुद उनसे सवाल पूछा कि क्या आप जिन 23 फसलों की एमएसपी तय करते हैं उसे पूरे देश में एमएसपी पर खरीदने को तैयार हैं? इस पर उन्होंने कहा कि हम नहीं खरीद सकते हैं, 17 लाख करोड़ रुपया इस पर खर्च पड़ेगा। चढूनी ने कहा कि इस पर उन्होंने अमित शाह को कहा कि आप जो खरीदेंगे उसकी कुल कीमत 17 लाख करोड़ रुपये होगी और जब सरकार बेचेगी तो उसे दो से तीन लाख करोड़ का घाटा होगा, जिसे वह बर्दाश्त कर सकती है।
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चढूनी ने कहा कि अमित शाह ने मेरे यह कहने पर भी एमएसपी पर देश भर में फसलें खरीदने से साफ इनकार कर दिया। इसके बावजूद कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर यह बोल रहे हैं कि सरकार एमएसपी जारी रखेगी, उस पर वह फसल खरीदेगी। उन्होंने कहा कि सारे बीजेपी वाले यह बात बोल रहे हैं। उन्होंने कहा कि ये देश के लोगों को गुमराह कर रहे हैं। ये कहते हैं कि हम जितना पहले खरीदते रहे हैं, उतना ही आगे खरीदते रहेंगे।
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किसान नेता गुरनाम सिंह चढूनी ने कहा कि लेकिन सरकार पहले जितना खरीदती रही है, उतनी खरीद में हमारा गुजारा नहीं है। बिहार में मक्का की फसल हुई, वह 800 रुपये क्विंटल बिकी। हरियाणा में मक्का एक हजार से 1100 रुपये के बीच बिका। उन्होंने कहा कि अगर ये एमएसपी पर खरीदते तो एक एकड़ पर 20 हजार रुपये की गिरावट नहीं होती। उन्होंने कहा कि ये हरियाणा में धान व गेहूं ही खरीद रहे हैं, लेकिन वह पूरे देश में भी कहां खरीद रहे हैं। यूपी में, बिहार में ये कहां धान खरीद रहे हैं।
उन्होंने कहा कि ये देश को गुमराह कर रहे हैं। ये सिर्फ उतना खरीद रहे हैं जितना इन्हें पीडीएस में पीला कार्ड वाले को बेचना है। उन्होंने कहा कि ये एमएसपी घोषित करेंगे लेकिन उस पर खरीदेंगे नहीं। यह बात अमित शाह ने साफ कर दी है और जो बीजेपी बोल रही है, वह सफेद झूठ है।
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