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राजनीति

उन्नाव गैंगरेप पीड़िता का कार एक्सीडेंट हादसा नहीं रेप आरोपी विधायक ने हत्या की रची थी गहरी साजिश!

Prema Negi
30 July 2019 3:43 AM GMT
उन्नाव गैंगरेप पीड़िता का कार एक्सीडेंट हादसा नहीं रेप आरोपी विधायक ने हत्या की रची थी गहरी साजिश!
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जिंदगी और मौत के बीच झूल रही उन्नाव गैंगरेप पीड़िता की मां ने कहा कुलदीप सिंह सेंगर लोग पिछले कई दिनों से दे रहे थे हम लोगों को धमकी, जब भी हम कोर्ट जाते तो कहते थे कि वह भले जेल में है, लेकिन उनके आदमी बाहर हैं, हादसे की साजिश भी उसने रची थी जेल के अंदर से क्योंकि वह करता है जेल के अंदर फोन का यूज...

जेपी सिंह की रिपोर्ट

न्नाव गैंगरेप केस में आरोपी भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की मुश्किलें अब और बढ़ गई हैं। रायबरेली के गुरबख्शगंज में एक ट्रक से गैंगरेप पीड़िता की कार को टक्कर मारने के मामले में बलात्कार आरोपी विधायक के खिलाफ हत्या, हत्या के प्रयास और आपराधिक साजिश जैसी कई धाराओं में केस दर्ज किया गया है। भारी दबाव के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस मामले की सीबीआई जांच की सिफारिश को मंजूरी दे दी है।

गौरतलब है कि रविवार 28 जुलाई को उन्नाव गैंगरेप पीड़िता की कार के ट्रक की चपेट में आने के चलते दो लोगों यानी पीड़िता की चाची और ड्राइवर की मौके पर मौत हो गई थी, जबकि पीड़िता गंभीर रूप से घायल है और अस्पताल में इलाज चल रहा है। वह जिंदगी और मौत के बीच झूल रही है। जिस ट्रक ने पीड़िता की कार को टक्कर मारी उसकी नंबर प्लेट पर कालिख पुती हुई थी, और जिसके नाम पर ट्रक रजिस्टर्ड है वह भी कुलदीप सिंह सेंगर के गृहक्षेत्र फतेहपुर का ही है। कहा जा रहा है कि इन दोनों का फतेहपुर कनेक्शन किसी बड़ी साजिश का इशारा ही है।

बर यह भी सामने आ रही है कि हादसे वाले दिन पीड़िता के साथ जान—बूझकर मौजूद नहीं थे। एफ़आईआर के अनुसार उन्नाव रेप पीड़िता की सुरक्षा में लगे पुलिसकर्मियों ने पीड़िता की गतिविधियों की सूचना जेल में बंद बीजेपी विधायक कुलदीप सेंगर तक पहुंचाई थी, जिसके बाद यह हादसा सामने आया।

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भारी दबाव के बाद प्रशासन ने अब इस मामले में 29 जुलाई को विधायक कुलदीप सिंह सेंगर समेत 10 लोगों के खिलाफ हत्या, हत्या के प्रयास, आपराधिक साजिश जैसी कई धाराओं में मुकदमा दर्ज किया है। इसके अलावा 15 से 20 अज्ञात लोगों के खिलाफ भी केस दर्ज किया गया है। कुलदीप सिंह सेंगर के अलावा जिन लोगों पर मुकदमा दर्ज हुआ है, उसमें उनके भाई मनोज सिंह सेंगर का नाम भी शामिल है।

रायबरेली के गुरुबक्स गंज थाने में उन्नाव गैंगरेप पीड़िता के चाचा महेश सिंह की तहरीर पर सेंगर और उनके भाई मनोज सेंगर के साथ-साथ विनोद मिश्र, हरिपाल सिंह, नवीन सिंह, कोमल सिंह, अरुण सिंह, ज्ञानेन्द्र और रिंकू के खिलाफ नामजद तथा 15-20 अज्ञात लोगों के खिलाफ हत्या, हत्या के प्रयास और साजिश रचने के आरोप में मुकदमा दर्ज किया गया है।

न्नाव गैंगरेप पीड़िता की मां का कहना है कि 'हमें पता चला है कि विधायक के लोग इस हादसे के लिए जिम्मेदार हैं। ये लोग पिछले कई दिनों से हम लोगों को धमकी दे रहे थे। जब भी हम कोर्ट जाते तो कहते थे कि वह भले जेल में है, लेकिन उनके आदमी बाहर हैं। वह जेल के अंदर मोबाइल फोन यूज किया करता था। हमें न्याय चाहिए।'

स्पताल के ट्रॉमा सर्जरी विभाग में वकील और गैंगरेप पीड़िता, दोनों को ही वेंटिलेटर पर रखा गया है। दोनों की स्थिति काफा नाजुक बनी हुई है। एक तरफ जहां उत्तर प्रदेश सरकार ने घायलों को मुफ्त इलाज की घोषणा की है तो वहीं रेप पीड़िता की मां ने इस दुर्घटना के पीछे बीजेपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की साजिश बताते हुए पीड़िता की इलाज के लिए विमान से उसे दिल्ली लेकर जाने की मांग की है। पीड़िता की कार में एक बड़े ट्रक ने टक्कर मारी है। ट्रक ड्राइवर को गिरफ्तार कर लिया गया है।

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गौरतलब है कि उन्नाव रेप केस की पीड़िता की गाड़ी को 28 जुलाई को रायबरेली में एक ट्रक ने टक्कर मार दी। हादसे में पीड़िता गंभीर रूप से घायल हो गई, जबकि उसकी चाची और ड्राइवर की मौत हो गई। जानकारी के मुताबिक पीड़िता के चाचा ​जेल में बंद हैं। चाचा से मिलने के लिए पीड़िता, उसकी चाची और वकील महेंद्र सिंह रायबरेली जेल जा रहे थे। इसी दौरान एक ट्रक ने उनकी कार को टक्कर मार दी।यह हादसा रायबरेली के अतरुआ गांव के पास हुआ। मौके पर पहुंची पुलिस ने घायलों को फौरन अस्पताल भेजा। पीड़िता और परिवार वालों की सुरक्षा के लिए जो गार्ड तैनात किए गए थे, वे सफर के दौरान उनके साथ मौजूद नहीं थे।

पीड़िता ने आरोप लगाया था कि उन्नाव के बांगरमऊ से विधायक कुलदीप सिंह सेंगर ने उसके साथ चार जून, 2017 को अपने आवास पर दुष्कर्म किया था। नाबालिग पीड़िता वहां अपने एक रिश्तेदार के साथ उनसे नौकरी मांगने के लिए आई थी। शिकायत के बावजूद उन्नाव पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। इस पर पीड़िता ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आवास पर आत्मदाह की कोशिश की थी।

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रमऊ से बीजेपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 363, 366, 376, 506 और पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज है। मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक ही विधायक का स्थानीय प्रशासन पर ऐसा दबदबा कायम था कि जब पीड़िता का पिता मामले की पैरवी करने दिल्ली से उन्नाव पहुंचा तो बजाय सुनवाई के उसके ही खिलाफ अवैध हथियार रखने का मामला दर्ज कर दिया गया। माखी थाने में विधायक के भाई अतुल सिंह सेंगर व समर्थकों ने उसे इतना पीटा कि गंभीर रूप से घायल पिता ने दम तोड़ दिया। इस मामले में थानेदार और एक अन्य दरोगा पर केस दर्ज कर दोनों को जेल भेजा जा चुका है।

रेप और पीड़िता के पिता की पिटाई का मामला सामने आने के बाद कुलदीप सिंह सेंगर और उनके छोटे भाई अतुल सिंह सेंगर की गिरफ्तारी हो गई थी, जबकि मनोज सिंह सेंगर पर इस मामले से लिंक न होने की वजह से कोई कार्रवाई नहीं की गई थी। रायबरेली में 28 जुलाई को हुई घटना के बाद वह भी लपेटे में है।

त्तर प्रदेश में 2017 के विधानसभा चुनावों से ठीक पहले समाजवादी पार्टी का दामन छोड़कर भारतीय जनता पार्टी में शामिल हुए कुलदीप सिंह सेंगर ने बांगरमऊ से चुनाव लड़ा और जीत भी दर्ज की। इससे पहले 2012 के विधानसभा चुनाव में उन्नाव की ही भगवंतनगर सीट से समाजवादी पार्टी के टिकट पर चुनाव लड़ा था और जीत दर्ज की थी।

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