Fact check : शिवराज सिंह चौहान के गृह जनपद सिहोर में बाइक पर शव ले जाने का क्या है सच, पोस्टमार्टम के लिए ले गये परिजन या भाग रहे थे बाइक पर

Fact check : फैक्ट चैक: शिवराज सिंह चौहान के गृह जनपद सिहोर में बाइक पर शव ले जाने का क्या है सच, पोस्टमार्टम के लिए ले गये परिजन या भाग रहे थे बाइक पर
Fact check dead body on bike for postmortem : एक तरफ जहां शिवराज सिंह चौहान मध्य प्रदेश के विकास, उन्नति को लेकर बड़ी-बड़ी बातें, वादे करते हैं, विकास के नाम पर तरह तरह की योजनाएं, नीति लाने की बात कहते हैं, दूसरी तरफ उनके राज्य की स्थिति इतनी बद से बदतर होते जा रही है, जिसकी सिर्फ कल्पना ही की जा सकती है।
मध्य प्रदेश में स्वास्थ्य व्यवस्था की पोल खोलता एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें शिवराज चौहान के गृह जिले सीहोर में मृतक के शव को ले जाने के लिए वाहन तक नहीं मिला तो परिजन बाइक पर शव को रखकर पोस्टमॉर्टम के लिये ले गये। इस वीडियो के देखने के बाद इंसानियत शर्मसार हो जाये। इस वीडियो को देख कर शिवराज सिंह चौहान को सोशल मीडिया पर जमकर ट्रोल किया जा रहा है।
जानकारी के अनुसार यह घटना सीहोर जिले की है, जहां की स्थिति इतनी दयनीय है कि मृतक को पोस्टमार्टम को ले जाने के लिए वाहन तक उपलब्ध नहीं है। मजबूरन ग्रामीणों को मृतक के शव को मोटर साइकिल पर रख कर पोस्टमार्टम के लिए ले जाना पड़ा। मीडिया में आयी खबरों के मुताबिक ही मृतक युवक के शव को गांव या अस्पताल ले जाने के लिए परिजन काफी देर तक यहां से वहां भटकते रहे, लेकिन तमाम प्रयासों के बावजूद शव वाहन या एम्बुलेंस नहीं आ सकी, इसके बाद परिजन बाइक पर शव को रखकर गांव ले गए।
वहीं कई मीडिया संस्थानों में यह खबर भी प्रकाशित हुई है कि पोस्टमार्टम से बचने के लिए परिजन शव लेकर भाग रहे थे। दैनिक जागरण और नई दुनिया में प्रकाशित खबरोें में कहा गया है कि परिजन शव का पोस्टमार्टम नहीं करवाना चाहते थे इसलिए बाइक पर लेकर भाग रहे थे, जबकि ज्यादातर मीडिया संस्थानों ने लिखा है कि शववाहन न मिलने से बाइक पर परिजन लाश को पोस्टमार्टम के लिए अस्पताल ले गये।
जब जनज्वार ने इसका फैक्ट चैक किया तो एबीपी लाइव में एसडीएम के हवाले से एक बयान दिया गया है, जिसके मुताबिक 'कालापीपल तहसील क्षेत्र में बाइक पर शव ले जाने का वीडियो वायरल होने के बाद सरकार और प्रशासन में हड़कंप मच गया है। शाजापुर एसडीएम सत्येंद्र सिंह को मीडिया के सामने आकर बोलना पड़ा कि ऐसा कुछ नहीं था। शव वाहन थे, लेकिन परिजन खुद ही शव को बाइक पर लेकर चल गए, उस समय ऐसी स्थिति थी कि उनसे बात नहीं कर सकते थे। वहीं जब उन्होंने परिजनों से बातचीत की तो उनका कहना था कि मानसिक स्थिति खराब थी, इसलिए हम शव को ले आए थे।'
मीडिया में आयी जानकारी के मुताबिक सीहोर और शाजापुर जिले के बीच निकली पार्वती नदी में नहाते समय 28 साल के हसीम जोकि ग्राम चायनी थाना कालापीपल का रहने वाला था, की पार्वती नदी पर बने बैराज से कूंदकर नहाते समय डूबने से मौत हो गयी। इस दौरान उसके साथ नहा रहे अन्य लोगों ने शोर मचाया तो ग्रामीण वहां पहुचे। सूचना पर शाजपुर जिले के कालापीपल और सीहोर से मंडी पुलिस घटनास्थल पर पहुंची। एनडीआरफ टीम ने शव को निकालकर घरवालों को सौंप दिया। कहा जा रहा है कि कालापीपल अस्पताल पोस्टमार्टम के लिए जाने के लिए परिजनों को कोई शव वाहन नहीं मिला तो मजबूरन बाइक पर लाश ले जायी गयी। शव को बाइक पर ले जाने का यही वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।
इस वायरल वीडियो के सामने आते ही लोगों के समक्ष कई सारे अतीत के पन्ने भी खुल कर सामने आ गए है। ऐसा लगता है जैसे मध्यप्रदेश में इस तरह के हालात बार बार उत्पन्न होते रहते हैं। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के गृह जिले के जैत में जहां नर्मदा का पानी तो पहुंच गया था, लेकिन पानी भरने के लिए टोंटियां नहीं लगी थी। शिवराज सिंह चौहान दीपावली के बाद जब गांव पहुंचे तो ढेरों लोग इस समस्या के आवेदन लेकर उऩके पास पहुंचे, तब जाकर जल निगम वाले पर कड़ाई कर समस्या सुलझाया गया।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह जी के 18 वर्ष के खोकले वादों की पोल खोलकर शर्मसार करता हुआ वीडियो,
— Arun Subhash Yadav 🇮🇳 (@MPArunYadav) September 3, 2022
शिवराज जी के गृह जिले सीहोर का यह मामला है जहाँ मृतक के शव को ले जाने के लिए वाहन नहीं मिला तो परिजन बाइक पर शव को रखकर पोस्टमॉर्टम के लिये ले गये ।#शर्मराज@INCIndia @INCMP @OfficeOfKNath pic.twitter.com/FAC1oEMVXK
सोशल मीडिया पर जनता कह रही है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह जी ने 18 वर्ष में केवल जनता से खोखले वादे किए हैं, जिसका परिणाम उभर कर सामने आया है। जब वे अपने जिले का ही विकास नहीं कर रहे, तो पूरे राज्य का विकास कैसे करेंगे।
कांग्रेस नेता अरुण सुभाष यादव इस वीडियो को शेयर करते हुए दुख व्यक्त करते हैं, 'मुख्यमंत्री शिवराज सिंह जी के 18 वर्ष के खोखले वादों की पोल खोलकर शर्मसार करता हुआ है वीडियो। शिवराज जी के गृह जिले सीहोर का यह मामला है जहाँ मृतक के शव को ले जाने के लिए वाहन नहीं मिला तो परिजन बाइक पर शव को रखकर पोस्टमॉर्टम के लिये ले गये।'










