दिल्ली मेट्रो में NO NRC की तख्तियों को ले जाने से रोका, क्या अब पोस्टरों से भी डरने लगी है सरकार ?
सीएए के खिलाफ प्रदर्शन कर मेट्रो से घर लौट रहे प्रदर्शनकारियों को सीआईएसएफ ने रोका, सीआईएसएफ ने कहा नारे लिखी तख्तियां ले जाने की नहीं है अनुमति...
जनज्वार। सरकार को अब एनआरसी और सीएए की तख्तियों से भी डर लगने लगा है। शुक्रवार 3 जनवरी को प्रदर्शनकारी जंतर-मंतर से वापस लौट रहे थे। इसके बाद जब वह जंतर-मंतर मेट्रो स्टेशन पर एंट्री कर रहे थे तभी सीआईएसएफ के सुरक्षाबलों ने उन्हें रोक दिया।
शुक्रवार 3 जनवरी को सीएए-एनआरसी के खिलाफ विभिन्न संगठनों ने मंडी हाउस से लेकर जंतर मंतर तक मार्च निकाला। जंतर- मंतर पर अलग अलग संगठनों के लोगों ने इसको लेकर अपने अपने विचार भी रखे। कार्यक्रम खत्म होने के बाद ये प्रदर्शनकारी जंतर मंतर के पास स्थित पटेल चौक मेट्रो स्टेशन से अपने अपने घरों को लौट रहे थे।
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इन प्रदर्शन करने वालों में अधिकतर लड़कियां थी। उन्होंने सीआईएसएफ के जवानों से कारण पूछा कि आप ऐसे कैसे हमारा समान जब्त कर सकते हैं। ये तो सरासर गलत बात है। प्रदर्शन करने वाले लड़के एवं लड़कियों ने कहा कि उन्हें लिखित में आदेश दिखाया जाए कि उनके पास क्या आदेश है कि ऐसे तख्ती मेट्रो में ले जाना मना है।
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इसी दौरान सामान्य लोग भी निकल रहे थे। उन्होंने भी सीआईएसएफ के जवानों को सुनाना शुरू कर दिया कि ये क्या हो रहा है देश मे, हर तीसरे दिन मेट्रो बन्द कर दी जाती है। अब कुछ नारे लिखी तख्तियां भी नहीं ले जाने दी जा रही हैं
2014 से पहले भी देश मे प्रदर्शन हुए हैं, धरने हुए हैं लेकिन सरकार अब जैसा सलूक इन प्रदर्शन करने वालों के साथ कर रही है ऐसा तो पहले कभी नही हुआ। सरकार अब नो एनआरसी लिखी तख्तियों से डर गई है।