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लॉकडाउन के बीच कानपुर के कर्नलगंज हॉटस्पॉट में कोरोना से पहली मौत
कानपुर में घोषित किए गए अब तक 8 रेडजोनो में से एक कर्नलगंज में एक कपड़ा कारोबारी की मंगलवार 14 अप्रैल की रात मौत हो गई। मृतक (55 वर्षीय) कर्नलगंज इलाके का रहने वाला था...
कानपुर से मनीष दुबे की रिपोर्ट
जनज्वार ब्यूरो। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से दूसरा देशव्यापी लॉकडाउन की घोषणा की जा चुकी है। यह अगले 3 मई तक जारी रहेगा। इस लॉकडाउन में जहां लोग अपने घरों से बाहर निकलने और दूसरों के संपर्क में आने से बच रहे हैं, वहीं उत्तर प्रदेश के कानपुर में लोग लॉकडाउन का उल्लंघन कर खुद की जान जहमत में फंसा रहे हैं।
कर्नलगंज में मौत का पॉजिटिव
कानपुर में घोषित किए गए अब तक आठ रेडजोनो में से एक कर्नलगंज में एक कपड़ा कारोबारी की मंगलवार 14 अप्रैल की रात मौत हो गई। मृतक (55 वर्षीय) कर्नलगंज इलाके का रहने वाला था। कारोबारी की मौत से स्वास्थ्य विभाग और अन्य जिम्मेदार विभागों पर इसलिए सवाल खड़े हो रहे हैं क्योंकि कोरोना का जमाती कनेक्शन निकलने के बाद सारी मशीनरी का ध्यान घोषित हॉटस्पॉटों पर ही था, तो इतनी बड़ी चूक कहां से हो गई, जबकि शहर काजी ने तब्लीगी जमात से आए सभी लोगों की मय तारीख लिस्ट सौंपी थी, सीएमओ अशोक शुक्ला सभी तैयारियों पर नजर बनाए थे। खैर अब फिर अशोक शुक्ला कह रहे हैं कि इस मृतक के सम्पर्क में आये सभी 61 लोगों की पहचान कर ली गई है।
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कर्नलगंज में बढ़ गया दायरा
कर्नलगंज हॉटस्पॉट में 55 वर्षीय संक्रमित व्यक्ति की मौत के बाद मची सनसनी से इस इलाके के 500 मीटर के दायरे को हॉटस्पॉट में शामिल कर दिया गया है। व्यवसायी की मौत के बाद इसके संपर्क में आये 61 लोगों की मेडिकल निगरानी भी शुरू कर दी गई है। इससे पहले कोरोना पॉजिटिव की अपोलो स्पेक्ट्रा अस्पताल में मौत के बाद उसके संपर्क में आये लोगों की पहचान करने में स्वास्थ्य टीम की सांस फूल गई थी।
इस निजी अस्पताल में रोगी का इलाज सामान्य रोगी की तरह चल रहा था क्योंकि यहां के डॉक्टर अंदाजा ही नहीं लगा पाए कि यह कोरोना पॉजिटिव है। जिसके चलते उन्होंने संक्रमित को बिना एहतियात बरते इलाज किया। रोगी यहां लगभग 14 घण्टे रहा था जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग रोग और उसकी कड़ियाँ जोड़ने में लगी है।
लॉकडाउन मनवाने में प्रशाशन की चूक
उत्तर प्रदेश की पुलिस कानपुर वासियों को लॉकडाउन का पालन करवा पाने में असमर्थ सी लग रही है। सुबह होते ही लॉकडाउन की धार देखने के लिए लोग रोजमर्रा की तरह ही घर से निकल लेते हैं। शहर में कई जगह 100 से 50 की संख्या में लोगों की भीड़ लगी नजर आती है। 10-20 का झुंड तो कई जगह दिख जाता है। कहीं राशन बटने की लाइन लगी हुई है तो कहीं दूध लेने की पर नही है तो सोशल डिस्टेंस। पुलिस भी रात दिन ड्यूटी दे रही फिर भी कहीं कहीं जुएं की फड़ें लग रहीं हैं। शराब से मौतें हो रहीं हैं, नशा बन्द नहीं हो रहा।
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गुटखा, सिगरेट का भी योगदान
गुटखों के लिए मशहूर कानपुर में लोग सुबह से लेकर देर रात तक इसके उपलब्धता की कवायद में भटकते हैं। दुकान दुकान से घरों के दरवाजे तक बजाकर लोग दुकानदारों से गुटखे और सिगरेट की बाबत बात बढ़ा रहे हैं। सिगरेट और गुटखे के दाम आसमान छू रहे हैं जिसके चलते कई गुटखेबाज तिगुने चौगुने दाम लेकर होमडिलीवरी तक करने लगे हैं। गुटखा व्यवसायियों ने शहर के कई सक्रिय सदस्यों को गुप्तचर की भूमिका में माल उपलब्ध कराने और खपत करवाते रहने के काम मे लगा रखा है।